खोया समय
समय जो खो गया है दोस्तों ,
वो समय जो अपने ही पर्दे में ,
छिप गया है दोस्तों,पर्दा हटा कर उसे खोज लो दोस्तों ||
वापिस तो वह समय नहीं आएगा ,
जो हमारे हाथ से फिसल गया है ,
कोई भी समय को ,रोक नहीं सकता है दोस्तों ||
मगर उस समय की यादें ,
चाहे हों खट्टी ,चाहे हों मीठी ,
दिल और दिमाग में बसी हैं दोस्तों ||
जरा दिल और दिमाग में ढूँढो तो ,
वो यादें सभी मिल जाएँगी उनमें ,
वो यादें ही तो ,होठों पर मुस्कानें लाएँगी दोस्तों ||
अब सोचो जरा ,मिल गया ना ?
वो खोया हुआ समय ,
अपने ही दिल और दिमाग में ,
अब तो खुल के मुस्का दो दोस्तों ||
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