Monday, August 18, 2025

INSAAN ( KSHANIKAA )

 

                                इंसान 

 

इंसान जब इंसानियत को समझेगा , 

तभी तो धरा पनपेगी ,

मानवता का पाठ पढ़कर उसे अपनाएगा ,

तभी तो धरा पनपेगी ,

पनपाओ इस धरा को , इंसान बनो तुम   || 

 

प्यार और मुस्कानों के साथ ही , 

तुम धरा  को सुंदर बनाओगे ,

यही तुम्हारे जीवन का उद्देश्य है ,

यही जीवन का सार है ,

तो सुंदर बना लो धरा को , इंसान बनो तुम  || 

 

मेल - जोल , भाई - चारा ही ,

प्यार और मुस्कानों की कुंजी है ,

इसी कुंजी से धरा की , सुंदरता का मार्ग खुलता है ,

तो तुम भी इस , इस कुंजी का उपयोग करो ,

इंसान बनो तुम , इंसान बनो तुम   || 

 

No comments:

Post a Comment