सुंदरता किसमें ?
जीवन पाते ही लगा ,चमन है हमारा जीवन ,
फूलों से भरा है ,खुश्बुओं से है महका जीवन ||
मगर किसी के मीठे बोलों को ,
किसी की प्यार भरी छुअन को ,
दो घड़ी अपनों के साथ को ,तरस गए हम दोस्तों ||
किसी के प्यार भरे तोहफे को ,
राहों में किसी के ,दो कदम साथ चलने को ,
किसी अपने के अपनेपन को ,तरस गए हम दोस्तों ||
और आज हमारे पार्थिव शरीर को ,
देखकर हमारी आत्मा सोच रही है ,
अपना कहने वालों द्वारा ,बोले गए बोल ,
उनकी अश्रु भरी आँखें ,दिखाई दे रहीं हैं दोस्तों ||
आज हमें कंधा देने को बढ़े लोग ,
राहों में साथ चलने वाले लोग ,
फूल ही फूल हम पर उड़ाने वाले लोग ,
हमारी प्रशंसा में छंद पढ़ते लोग ,
ऐ - मौत तू पहले क्यों नहीं आ गई ?
उस जीवन में कहाँ सुंदरता थी ?
जो इस मौत में है दोस्तों ,समझे दोस्तों ??
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