Tuesday, September 17, 2024

DHAAM BAPPAA KAA ( AADHYAATMIK )

 

                           धाम बप्पा का 


गए हैं बप्पा अपने धाम ,खाली कर गए हैं मकान ,

वो तो पहुँच गायब अपने ,माता - पिता के धाम || 


पाएँगे प्यार अपने माता - पिता से ,

करेंगे बातें अपने माता - पिता से ,

खुश होंगे ,खुशियों को पाएँगे ,अपने माता -पिता से || 


ये खुशियाँ वो इकट्ठी कर ,बाधेंगे आँचल में ,

अगले बरस तभी तो ,बाँटेंगे अपने भक्तों में ,

खुशियों का खजाना लेके ,वो लौटेंगे भक्तों के धाम || 


भक्तों को अभी से ,इंतजार है अगले बरस का ,

हम भी उन्हीं में शामिल हैं ,हम भी उन्हीं में शामिल हैं ,

हम भी बुलाएँगे बप्पा को अपने धाम || 


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