वादा
नहीं ! तनाव को पालिए ,मुस्कानें लियो खिलाय ,
जीवन सुख को समेट लो ,उदासियों को देय भूुलाय ||
जीवन भरा समंदर ,मुस्कानों से पूर ,
मत रोको मुस्कानों को ,खिलखिलाओ भरपूर ||
रत्नों की खान समंदर है ,लहरों के खेल अनेक ,
जीवन मिलता एक है ,मगर रस्ते हैं अनेक ||
मुस्कानों की लहरें लहराईं ,समंदर छोर से बाहर आईं ,
देख वहाँ पर हमको तो ,वो खिलखिल कर मुस्काईं ||
समंदर ने देखा हर ओर ,लहरों को वापस बुलाया ,
लहरों ने लौटकर जल्दी ,अपना किया वादा निभाया ||
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