दायरे
नफरतों के दायरे , मत बढ़ाओ यारों ,
सामने वालों को कोई , अहमियत मत दो यारों ,
अपने दिल पर नफरत का , बोझ मत डालो यारों ||
एक माफी दे कर , अपने दिल का बोझ खत्म कर दो ,
सामने वाले को कोई , विशेषता महसूस मत कराओ ,
इसके लिए नफरतों को , खत्म कर दो यारों ||
जीवन को सुंदर मुस्कानों से , सजा लो यारों ,
इसी को समेट कर , अपने आँचल को जगमगा लो यारों ,
जीवन को , जिंदगी की तरह , जी जाओ यारों ||
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